अखिल भारतीय भट्ट शक्ति पुंज ट्रस्ट परिवार अयोध्या की बैठक सुल्तानपुर में हुई संपन्न
29 अक्टूबर2023 को अयोध्या में अखिल भारतीय ब्रह्म भट्ट समाज की होने वाली बैठक पर हुई चर्चा, सुलतानपुर।अखिल भारतीय भट्ट शक्ति पुंज ट्रस्ट परिवार अयोध्या की हुई बैठक में भारत वर्ष में निवास करने वाले सभी सम्मानित एवं ऊर्जा वान कर्मठ भट्ट समाज के सभी भाईयों व बहनों की अंतरआत्मा की आवाज व भट्ट समाज की आवश्यकता के आधार पर यह निर्णय लिया कि अयोध्या में अपनी माँ सरस्वती जी का एक भव्य एंव दिव्य मन्दिर साथ ही एक भट्ट भवन का भी निर्माण भट्ट समाज के सहयोग से कराया जाए। आज हमारे समाज का अयोध्या में न कोई मन्दिर है और न कोई स्थान।जहाँ हम लोग सामूहिक रूप से बैठ सकें या अपनी माँ और अपने महान समाज के पूर्वजों को याद कर सकें। अयोध्या चूंकि प्रभु श्री राम की जन्म स्थली है और हर दृष्टिकोण से पूजित एवं वन्दनीय है।यहाँ सम्पूर्ण भारत वर्ष के लोग दर्शन करने अपने जीवन काल में एक बार अवश्य आते है।यही सोचकर माँ सरस्वती के मन्दिर एवं भट्ट भवन निर्माण का कार्यक्रम अयोध्या में ही बनवाने का निर्णय लिया गया है, जिससे पूरे भारत देश से जब भी अपना कोई भाई कहीं से अयोध्या दर्शन करने आए तो वह अयोध्या का दर्शन करे साथ ही अपनी माँ सरस्वती का भी दर्शन पूजन करे व अपने भट्ट भवन में आकर जब तक रूकना चाहे रूके एवं रहे।इसके अतिरिक्त अन्य समाज में भी इसका प्रभाव सकारात्मक ही जाएगा। लोगों के साथ साथ अयोध्या के सन्त महन्त भी अपनी माँ के मन्दिर और भट्ट भवन को एक सकारात्मक नजरिए से देखेंगे। हम सभी लोगों का मान और सम्मान अयोध्या की महत्ता व प्रभाव के कारण पूरे देश में स्थापित होगा व हमारा कार्य व हम सभी अखिल भारतीय पटल पर अपने को आज की अपेक्षा और अधिक मजबूती से स्थापित करने में निश्चित रूप से सफल होंगे। अब इसी कर्म में हम लोग आप सभी के सहयोग से 2 विसवा भूमि माँ सरस्वती जी के मन्दिर एवं भट्ट भवन निर्माण के लिए ट्रस्ट के नाम अयोध्या में खरीद चुके है। रजिस्ट्री भी हो गयी है जिस पर 18 फरवरी 2022 को भूमि पूजन भी कर लिया गया है। और वर्तमान में 26 जनवरी 2023 वसन्त पंचमी के शुभ अवसर से माँ सरस्वती के मन्दिर के निर्माण कार्य का शुभारम्भ भी कर दिया गया है। जिसमें आप सभी का तन मन और धन से सहयोग आपेक्षित है।जिससे माँ सरस्वती के मन्दिर के निर्माण का कार्य आप सबके सहयोग से निरन्तर चलता रहे। क्योकि इस शुभ कार्य को वसन्त पंचमी 2024 तक हम सबको मिलकर और यथाशक्ति सहयोग कर पूरा करना है।और अपनी माँ सरस्वती को इसी वसन्त पंचमी 2024 में ही इसी दिन माँ के मन्दिर में माँ को स्थापित कर देना है। जो भट्ट समाज के लिए एक ऐतिहासिक दिन तारीख व समय होगा। जो भट्ट समाज का यह कार्य स्वर्णिम अक्षरों से इतिहास में सदा सर्वदा के लिए लिख दिया जाएगा। साथ ही भट्ट समाज इस पर गर्व अनुभव करेगा और समाज में अपना समाज गौरवान्वित भी इस कार्य से होगा। इसके अतिरिक्त और भी अखिल भारतीय भट्ट शक्ति पुंज ट्रस्ट परिवार अयोध्या के सामाजिक व धार्मिक लक्ष्य और उद्देश्य है जो भट्ट समाज के लिए परम आवश्यक महत्वपूर्ण व हर दृष्टिकोण से लाभप्रद है।जो इस प्रकार है‼️ संगठन का मूल उद्देश्य हम सभी भट्ट बंधुओं को राय, शर्मा या अन्य सर नेम लिखने के बजाय सभी लोग अब नये बच्चों का सर नेम भट्ट अवश्य लिखे यह भट्ट समाज के लिए एक अभियान है इसे अवश्य करे इससे निकट भविष्य में बहुत बडा सामाजिक परिवर्तन होगा।जो हम सभी के लिए सम्मान व गौरव का विषय होगा। अपने अपने घरों में माँ सरस्वती जी की और आर्य भट्ट जी की फोटो अवश्य रखें।
वसन्त पंचमी जो माँ सरस्वती जी का जन्म दिन है उस दिन हम सभी जैसे अपने अपने घरों में अपने बच्चो व अपना या परिवार के अन्य सदस्यों का जन्म दिन मनाते है ठीक उसी प्रकार सुन्दर तरीके से अपनी माँ सरस्वती जी का जन्म दिन बसन्त पंचमी को हरषोउललास के साथ मनाए। हो सके तो ढोल नगाड़े के साथ शोभा यात्रा निकाले।यह बहुत जरुरी है समाज में उच्च स्थान बनाने के लिए।मन्दिर एवं भट्ट भवन निर्माण के बाद हम सभी आपसी सहयोग से वहीं पर सामूहिक विवाह सामूहिक जनेऊ संस्कार आदि कराए जाएंगे। भट्ट समाज के ऐसे बृद्ध जिनके कोई नहीं है ऐसे लोगों को बृद्धा आश्रम में रखा जाएगा।जो भट्ट भवन में ही एक बृद्धा आश्रम भी बनवाया जाएंगा। भट्ट भवन में ही संस्कृत की पाठशाला भी बनाई जाएगी जिसके माध्यम से भट्ट समाज के इच्छुक बच्चों को कर्मकाण्डी व वेदपाठी बनाया जाएगा। यदि कोई बच्चा धनाभाव के कारण शिक्षा नही ले पा रहा है और उसकी शिक्षा में धन ही आडे आ रहा है तो ट्रस्ट परिवार अयोध्या उसकी हर सम्भव मदद करेगा। आपसी एकता और भाई चारे को बढावा देना। अयोध्या की पावन पवित्र धरती पर माँ सरस्वती जी के मन्दिर एवं भट्ट भवन में सभी भट्ट बंधुओं का सादर स्वागत एवं अभिनन्दन करना। शिक्षा पर विशेष बल देते हुए सभी लोग अच्छी तरह समाज के शिक्षित हो इस पर विशेष बल देना। शादी विवाह में एक दुसरे की यथाशक्ति विशेष रूप से मदद करना। दहेज प्रथा पर अंकुश लगाने हेतु विशेष निवेदन करना व जन जागरण बैठकों के माध्यम से करना।आर्य भट्ट के विशेष योगदान को दृष्टिगत रखते हुए उनकी एक प्रतिमा प्रदेश और देश के समस्त राजधानियों व अयोध्या में अवश्य रूप से लगवाने हेतु सरकार से विशेष रूप से प्रार्थना करना व प्रयास करना।भट्ट समाज के महान पूर्वजों को जिनका योगदान शिक्षा धर्म सांस्कृतिक सामाजिक व राजनीतिक क्षेत्रों में विशेष रूप से है उन्हें हर स्थिति में अखिल भारतीय भट्ट समाज के सर्वोच्च पटल पर समाज में स्थापित करना।हम सभी जब भी एक दुसरे से मिलते है या मोबाइल से फोन एक दुसरे को करते है तो ऐसी स्थिति में नमस्ते गुड मार्निग इत्यादि कहते है तो अब ऐसी स्थिति में हम सब अपने समाज के लोगों से मिलने व फोन करने पर नमस्ते गुड मार्निग गुड नाइट के स्थान पर अपनी माँ सरस्वती जी का नाम लेते हुए जय माँ सरस्वती कहेंगे , हम सभी को परशुराम भगवान् जी की आर्य भट्ट की कुमारिल भट्ट जी की और चाणक्य आदि महान लोगो की जयन्ती इत्यादि हर्षसोउललास के साथ सदैव मिल जुलकर मनाए।तभी हमारा समाज आगे बढते हुए और अधिक शक्ति शाली बनेगा।उक्त सभी लक्ष्य और उद्देश्य की पूर्ति करके हम सभी अपने भट्ट समाज को कहीँ न कहीँ और अधिक गौरवान्वित और सम्मानित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण एवं सारगर्भित कार्य आप सबके सहयोग और समर्पण से हम सभी मिलकर एकता के साथ कर सकेंगे। बैठक में संरक्षक/अध्यक्ष लाल जी भट्ट, प्रदेश इकाई के अध्यक्ष राजेश शर्मा, पूर्वी क्षेत्र के अध्यक्ष आचार्य राज नारायण भट्ट, मंडल अध्यक्ष/कार्यवाहक अध्यक्ष शशि शर्मा,अवधेश शर्मा अंकित राय आदि उपस्थित रहे